लैलूंगा/रायगढ़। जिले के जल संसाधन विभाग के उप संभाग लैलूंगा के खम्हार पाकुट जलाशय के पानी को नगर में छोड़े जाने को लेकर जल संसाधन विभाग हमेशा से विवादों में रहा है । अभी कुछ दिन पूर्व की बात है किसानों के धान की फसल पक कर लगभग तैयार हो चुकी है और नहर में पानी छोड़ दिया गया । जिसे लेकर लगातार स्थानीय समाचार पत्रों में खबरें प्रकाशन होने के बाद शासन – प्रशासन के कानों में जूं रेंगना प्रारम्भ हुआ और सैकड़ो किसानों के जनाक्रोश के बाद नहर की पानी को बंद किया गया ।
अपने कारनामों और सुस्त रवैये के कारण जल संसाधन विभाग लैलूंगा लोगों के लिए परेशानी का सबब बना हुआ है । आपको बता दें कि खम्हार पाकुट जलाशय से निकलने वाली एक मात्र मुख्य नहर जो लैलूंगा नगर के बीचों बीच से होकर गुजरती है । उपरोक्त नहर में घरों से निकलने वाली गंदे पानी एवं शौचालय के पानी को नहर में बहा दिया जाता है ।
साथ ही साथ घरों के कचरों को भी नहर के किनारे फेंक दिया जाता है । जिससे कारण नहर का पानी दूषित तथा गंदा हो जाता है तथा गंदे व दुर्गंध युक्त बदबू आने लगती है । जिससे की नहर के किनारे रह रहे लोगों का दुर्गंध के कारण जीना दूभर हो गया है । जिसके बाद भी जल संसाधन विभाग लैलूंगा के खडूस अधिकारी तथा कर्मचारियों को इससे कोई लेना देना नहीं केवल उन्हें महिने पूरे होने पर तनख्वाह से मतलब होता है ।
इस नहर का वर्षों से साफ – सफाई नहीं किया जाता है । जिससे आये दिन स्थानीय लोगों के परेशानी का सबब बन गया है । परन्तु कागजों में इस नहर की साफ – सफाई हो जाती है और शासकीय राशियों को भ्रष्टाचार की भेंट चढ़ा दिया जाता है । इसके बारे में कोई भी जन प्रतिनिधि सुध लेने वाले नहीं है।
उपेक्षा का शिकार होता नगर पंचायत लैलूंगा के वार्ड क्रमांक 15 के नगरवासी पिछले कई महिनो से गंदे तथा बदबूदार वार्ड में जीवन यापन करने को मजबूर हैं । अब यह देखना होगा की जल संसाधन विभाग के उप संभाग लैलूंगा के द्वारा कब तलक संज्ञान लिया जायेगा । या यूँ ही मामले को अनदेखी कर लोगों के जान से खिलवाड़ किया जाता रहेगा है ।