निगम का सोता प्रशासन कागजों में, साफ-सफाई व्यवस्था शिकायत के बाद भी नही मिल रही जनता को राहत, लगातार बढ़ रहे हैं डेंगू मरीज

by Kakajee News

रायगढ़। रायगढ़ नगर निगम क्षेत्र में बढ़ती डेंगू बीमारी को लेकर जिला कलेक्टर तारन सिन्हा ने अपनी पूरी टीम इससे निपटने के लिये लगा दी है लेकिन दूसरी ओर रायगढ़ नगर निगम के अधिकारी व पदाधिकारी इस मामले में अभी तक सोते नजर आ रहे हैं। स्थिति यह है कि डेंगू बीमारी से ग्रसित मरीजों की संख्या बढ़ते जा रही है और सोता निगम प्रशासन सब कुछ ठीक ठाक होनें का दावा कर रहा है। इतना ही नही सड़कों पर पसरी गंदगी तथा सच लिखने वाले लोग भी इससे पीड़ित हो रहे हैं। जान जोखिम में डालकर कुंभकर्ण की नींद की तरह सो रहा निगम प्रशासन को जगाने के लिये बार-बार सलाह के साथ-साथ जानकारी भी दे रहे हैं लेकिन कोई फर्क नही पड़ रहा है।
रायगढ़ शहर के चक्रधर नगर इलाके के मिनी औद्योगिक क्षेत्र सिंधी कालोनी स्टेडियम के सामने के अलावा शहर के कई चैक-चैराहें पर बीते एक माह से गंदगी का ढेर निगम प्रशासन को मुंह चिढा रहा है ऐसा नही है कि इस गंदगी के ढेर के मामले में निगम को जानकारी नही है। समय-समय पर पीड़ित लोग निगम के टोल फ्री नंबर से लेकर अधिकारियों, पार्षदों से भी गुहार लगाते हैं लेकिन यह गंदगी अब ढेर से होते हुए सड़कों पर फैल गई है और भारी बरसात के चलते आसपास का इलाका बदबू से महक रहा है। इतना ही नही क्षेत्र के लोग दोहरी मार से जूझ रहे हैं चूंकि एक तो फैलती गंदगी से उनके दिनचर्या खराब हो रही है वहीं डेंगू के डंग के डर से वे सिहर जाते है। सूत्र बताते हैं कि जिला कलेक्टर तारन सिन्हा के दिशा निर्देश के बाद अचानक तेजी से साफ-सफाई व्यवस्था भी हुई लेकिन जैसे ही कलेक्टर ने थोड़ी ढिलाई बरती तो नगर निगम के अधिकारी सुस्त हो गए। जिसके कारण गंदगी के ढेर इस कदर फैल गए हैं कि वहां से लोगों का पैदल गुजरना भी दुभर हो गया है।
इस गंदगी के कारण औद्योगिक क्षेत्र में काम करने वाले तीन लोग डेंगू से पीड़ित भी हो गए हैं और कुछ लोग बुखार से तप रहे हैं। अपने खुद के खर्चे से इलाज के लिये भागभाग कर रहे ये लोग बताते हैं कि मिनी औद्योगिक क्षेत्र इलाके में कई जगह महीनों से साफ-सफाई व्यवस्था ठप्प हो गई है और वहां बरसात का पानी जगह-जगह जमा होनें से डेंगू का लार्वा फैल रहा है। इतना ही नही इस इलाके में नगर निगम के कोई भी अधिकारी कर्मचारी सर्वे करने तो दूर महीनों से यहां आते भी नही। जिसके कारण यहां के रहवासी भगवान भरोसे जीने को मजबूर है। बहरहाल देखना यह है कि क्या अकेले जिला कलेक्टर तारन सिन्हा ही सड़कों पर उतरकर जगह-जगह जाएंगे या जिम्मेदार अधिकारी पदाधिकारी इमानदारी से डेंगू से लड़ने के लिये अपनी ड्यूटी निभायेंगे।

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