रायगढ़। अनाचार के मामले में जेल की सजा भुगतने के बाद जमानत पर रिहा होते ही पीड़िता को मोबाईल पर धमकी देने और उसका अश्लील वीडियो वास्ट्सअप गु्रप में वायरल करने के मामले में अजाजजा अत्याचार निवारण अधिनियम की विशेष अदालत ने आरोपी को दोषी करार देते हुए अलग-अलग धाराओं में एक साल के कारावास और 15 हजार रूपये के अर्थदण्ड से दंडित किया है।
अभियोजन पक्ष के अनुसार मामला संक्षेप में इस प्रकार है कि पीड़िता की शिकायत के बाद विशेष न्यायाधीश एट्रोसिटीज एक्ट रायगढ़ के न्यायालय ने विशेष प्रकरण धारा 376 अनुसूचित जाति और अनुसूचित जनजाति अत्याचार निवारण अधिनियम के तहत प्रकरण विचाराधीन है। जिसमें माननीय उच्च न्यायालय ने आरोपी मनहरण राठौर पिता रामचरण राठौर उम्र 51 साल निवासी ग्राम महका खरसिया को सशर्त जमानत पर रिहा किये जाने का आदेश दिये जाने पर आरोपी जमानत पर रिहा हुआ था। 11 अगस्त 2021 की दरम्यिानी रात आरोपी ने पीड़िता के पति के मोबाईल पर धमकी भरा मैसेज भेजा और गोपी महका खरसिया नामक संचालित वास्ट्सअप गु्रप में पीड़िता का अश्लील वीडियो और मैसेज वायरल कर दिया तथा पेशी तारीख में जाने पर जाने से मारने की धमकी भी दिया।
पीड़िता ने उक्त घटना के संबंध में लिखित शिकायत के आधार पर खरसिया थाने में आरोपी के खिलाफ धारा 509 ख तथा सूचना प्रौघोगिकी संशोधन अधिनियम 2000 की धारा 67 ए के अंतर्गत पंजीबद्ध किया गया। उक्त मामला अनुसूचित जाति जनजाति अत्याचार निवारण की विशेष अदालत में उपार्पण पश्चात पहुंचने के बाद विद्वान न्यायाधीश जितेन्द्र कुमार जैन की अदालत ने इस मामले में दोनों पक्षों की सुनवाई पश्चात आरोपी को विभिन्न धाराओं में दोषी करार देते हुए धारा 509 ख के तहत एक साल कारावास व 5 हजार अर्थदण्ड, सूचना प्राद्योगिकी अधिनियम 2000 की धारा 67 के तहत एक साल कारावास व पांच हजार अर्थदण्ड तथा अजाजजा अत्याचार निवारण अधिनियम की धारा 3, (1) (डब्ल्यू), (आई) के तहत एक साल कारावास और पांच हजार के अर्थदण्ड से दंडित किया है। तीनों धाराओं में अर्थदण्ड न पटाने पर एक-एक माह का अतिरिक्त कारावास भुगताने की व्यवस्था दी गई है। वहीं पीड़िता को प्रतिकर के रूप में दस हजार रूपये का भुगतान करने का भी आदेश पारित किया गया है। इस मामले में विशेष लोक अभियोजक अनूप कुमार साहू ने पैरवी की।