रायगढ़। शहर की प्रसिद्ध शैक्षणिक संस्था संस्कार स्कूल के बच्चों ने एक अगस्त को फ्रेंडशिप-डे इस बार कुछ अलग अंदाज में मनाया। बच्चों ने ‘मित्रताÓ की परिभाषा कुछ अलग ढंग से दी, जिसमें किसी ने अपनी मां, तो किसी ने पापा, तो किसी ने अपने भाई को सच्चा मित्र बताया।
बच्चों का मानना था कि मम्मी-पापा भी हमारे सच्चे दोस्त हो सकते हैं, जिससे हम अपने मन की बातें शेयर कर सकते हैं। दरअसल, कुछ लोगों का मानना है कि दोस्त, अपने स्कूल के सहपाठी, मोहल्ले या कालोनी या पड़ोस के हमजोली ही हो सकते हैं, लेकिन ऐसा नहीं है। हमारे परिवार के सदस्य भी सच्चे मित्र बन सकते हैं। इसी तरह की अपनी भावनाओं को बच्चों ने फोटोग्राफ्स व अन्य माध्यम से सोशल साइट्स पर प्रगट किया।
स्कूल के मार्गदर्शक रामचंद्र शर्मा ने बताया कि हमारी संस्था ने प्रमुख तीज-त्यौहारों व महापुरुषों की जयंती के साथ ही प्रमुख दिवसों पर भी कार्यक्रम आयोजित कर बच्चों को इसके महत्व के बारे में बताया जाता है। इसी कड़ी में फ्रेंडशिप-डे पर ऑनलाइन कार्यक्रम आयोजित किए गए। इसमें बच्चों व उनके अभिभावकों ने उत्साह से हिस्सा लिया।
स्कूल की प्राचार्य श्रीमती रश्मि शर्मा ने बताया कि भारत में हर वर्ष अगस्त के पहले रविवार को फ्रेंडशिप-डे मनाया जाता है। पिछले दो साल से कोरोना महामारी के कारण स्कूल में क्लासेस नहीं लग रही हैं, लेकिन हम सारी एक्टिविटीज ऑनलाइन व वर्चुअल स्वरूप में कर रहे हैं।
इसी कड़ी में फ्रेंडशिप-डे पर ऑनलाइन काम्पीटिशन आयोजित किए गए, जिसमें बच्चों ने जीवन में मित्रता का महत्व बताते हुए फोटोग्राफ्स स्कूल के फेसबुक व वाट्सएप ग्रुप पर शेयर किए, जिसे शहरवासियों की भरपूर सराहना मिली।