रायगढ़। महिला आयोग अध्यक्ष डॉ. किरणमयी नायक ने बीते बुधवार को कलेक्टोरेट सृजन सभाकक्ष में 27 मामलों की सुनवाई की। इस दौरान महिलाओं के दो गंभीर शिकायत पर अध्यक्ष डॉ. किरणमयी नायक ने जांच समिति गठित करते हुए समिति के रिपोर्ट के अनुसार कार्रवाई करने की बात संबंधित पक्षकार को कही। इसी तरह पति के द्वारा दूसरी शादी करने और एक अन्य प्रकरण में युवती को मर्जी के खिलाफ बलात रखने के मामले में आरोपियों के खिलाफ एफआईआर दर्ज करने सहित कार्रवाई करने के निर्देश संबंधित टीआई को दिए।
महिला आयोग की सुनवाई कलेक्टोरेट सभाकक्ष में दोपहर 12 बजे से शुरू हुई। आज की सुनवाई में आयोग अध्यक्ष डॉ नायक ने शासकीय उच्च. माध्य. विद्यालय के प्रकरण में उभयपक्षो को सुना गया। आवेदिका की शिकायत को आयोग द्वारा अवलोकन किया गया। आवेदिका ने आयोग के समक्ष एक सीडी भी प्रस्तुत किया और अनावेदक ने एक सूचना की प्रति प्रस्तुत किया। इस प्रकरण पर आयोग की अध्यक्ष डॉ नायक ने प्रकरण की सुनवाई में कहा कि उभयपक्षों के बीच विवाद के मुद्दे और उसके समर्थन में गवाहों की उपस्थिति विद्यालय में ही मिल सकती है।
महिला आयोग की सदस्य श्रीमती अर्चना उपाध्याय की उपस्थिति में जिला कार्यक्रम अधिकारी और स्थानीय जन प्रतिनिधी सहित तीन सदस्यीय कमेटी का गठन किया। डॉ नायक द्वारा समिति को निर्देशित किया गया कि वे किसी भी दिन स्कूल में औचक निरिक्षण कर गवाहो का बयान दर्ज करेंगे। इस आधार पर अपनी रिपोर्ट आयोग को समय पर प्रस्तुत करेंगे। समिति के सदस्य जॉच किस प्रकार करेंगे यह निर्णय समिति स्वयं लेंगे और जांच रिपोर्ट प्रस्तुत होने पर अंतिम निर्णय आयोग द्वारा लिया जाएगा।
इस सुनवाई के दौरान रायगढ़ कोतरा रोड़ की एक महिला ने पुलिस अधीक्षक कार्यालय में कार्यरत प्रधान आरक्षक मुकेश त्रिपाठी द्वारा उसके उपर बुरी नियत रखने के साथ साथ शारीरिक संबंध बनाने के दबाव संबंधी शिकायत के अलावा पुलिस का धौंस दिखाकर उसे अलग अलग धाराओं में फंसाकर जेल भेजने तक की कोशिश करने वाले के खिलाफ अपनी व्यथा बताई।
पीड़ित महिला ने बताया कि मुकेश त्रिपाठी ने उसके परिवार के लोगों को जबरन उकसाकर पहले उसे बदनाम करवाया उसके बाद पुलिस अधीक्षक कार्यालय में दी गई शिकायत को वापस लेने के बाद भी उसके कागजातों को लेकर उसे सामाजिक तौर पर बदनाम करने की कोशिश लगातार कर रहा है और इस संबंध में डेढ साल पहले सिटी कोतवाली में लिखित शिकायत करने के बाद भी उसे न्याय नही मिल पा रहा है।
पीड़ित महिला अपने नाबालिग बच्चे के साथ आयोग के समक्ष पहुंची थी और उसने कई दस्तावेजों के साथ साथ मुकेश त्रिपाठी द्वारा दी गई धमकी एवं उसे बदनाम करने संबंधी कई वीडियो रिकार्डिंग भी सौंपी है।
सुनवाई के दौरान पीड़ित महिला की शिकायत पर महिला आयोग की अध्यक्ष किरणमयी नायक ने तीन सदस्यीय जांच समिति बनाकर पूरे प्रकरण की जांच करने के आदेश दिए है और इस मामले में सिटी कोतवाली थाना प्रभारी तथा पुलिस अधीक्षक को भी पत्र भेजा गया है।