धान खरीदी में अव्यवस्था को लेकर भाजपाईयों का हल्लाबोल, कांग्रेस सरकार की वादाखिलाफी के खिलाफ पुसौर में धरना

by Kakajee News

रायगढ़। वर्ष 2018 में विधानसभा चुनाव में जन घोषणा जारी करते समय कांग्रेस के राष्ट्रीय और प्रदेश नेतृत्व ने पवित्र गंगाजल की कसम खाकर प्रदेष के अन्नदाताओं से उनका दाना-दाना धान खरीदने समेत अनेक वादे किये थे। परंतु सत्ता में आने के बाद कांग्रेस लगभग सभी वादों से मुकर गयी है। आज किसान स्वयं को ठगा हुआ और असहाय महसूस कर रहे है। वे धान खरीदी के नाम पर प्रताडि़त हो रहे हैं। हालात यह है कि चरम निराषा में अन्नदाता आत्महत्या तक कर रहें हैं। इन विसंगतियों पर भाजपा लगातार शासन का ध्यान आकृष्ट करने की कोशिश करती रही है। प्रदेश में लगातार आंदोलनों और प्रदर्शनों का क्रम भी जारी है। बावजूद इसके शासन इन अत्यावश्यक मुददों से मुंह मोड़े खड़ी है।
उक्त उदगार व्यक्त करते हुयें भाजपा नेता गिरधर गुप्ता ने कहा कि किसानो के धान का रकबा गिरदावरी के नाम पर काटा गया। करीब दो लाख एकड़ जमीन इस बहाने कम कर दिये गये है। तहसील कार्यालय में आवेदन तथा टोल फ्री नम्बर पर किये गये आवेदनो पर भी कोई कारवाई नहीं की गई है। किसान भटक रहे है। रकबा कम होने से निराष हो कर भी किसान आत्महत्या कर रहे है। किसानो के वास्तविक रकबे के आधर पर ही धान खरीदी हो। जिलाध्यक्ष उमेश अग्रवाल ने सभा को संबोधित करते हुये कहा कि छत्तीसगढ़ सरकार ने बारदाना खरीदी हेतु अनुमानित संख्या 4.45 लाख गठान (500 बारदाना प्रति गठान) खरीदने हेतु समय रहते कदम नहीं उठाया जिसके कारण किसान परेषान है। कांग्रेस सरकार ने सदन में स्वीकार किया था कि उसके पास 1 लाख 15 हजार गठान बारदाने की कमी हैं। अब उसी कमी को बहाना बना कर सरकार धान नहीं खरीद रही है, साथ ही केन्द्र सरकार के नाम किसानो को गुमराह कर रही है। वह बहानेबाजी बंद करे और बारदाने की आपूर्ति सुनिष्चित करे। बारदाने की कमी के कारण बड़ी संख्या में किसान अपना धान नही बेच पाये है अत: धान खरीदी का समय एक माह बढ़ाया जाये। विगत वर्ष किसानों से बारदाना लिया गया (वापसी के शर्तो के साथ) जिसे न तो अब तक वापस किया गया है और न ही उसका कोई भुगतान किया गया, अत: उसका भुगतान भी शीघ्र किये जायें।
वरिष्ठ नेता मुकेश जैन ने कहा कि कांग्रेस ने किसानो से न्युनतम 2500/- प्रति की कीमत पर धान खरीदने का वादा किया था। परंतु पिछले वर्ष जिन किसानो ने धान बचा था, उन्हें वर्ष भी से अधिक बीत जाने के बाद भी पूरी राषि नहीं मिली है। छोटे-छोटे किश्तों में प्राप्त राषि किसान के किसी का नहीं होता है। अत: किसानो को धान की पूरी कीमत 2500/- प्रति क्विंटल एक साथ देना सुनिष्चित किया जाये। पिछला बकाया भी शीघ्र किये जायें। भाजपा नेता विवेकरंजन सिन्हा ने मांग कि और कहा कि 2018 के विधानसभा चुनाव में कांग्रेस ने किसानो से यह वादा भी किया था कि उन्हें 300/- प्रति क्विंटल की दर से दो वर्षो के बोनस की राशि दिया जायेगा। आज छत्तीसगढ़ में कांग्रेस की सरकार बने 2 वर्ष से अधिक होने के बाद भी बोनस की राषि किसानों को नही मिला है। अत: शीघ्र इस राषि का भुगतान भी किया जाये जबकि मंडल अध्यक्ष ईष्वर गुप्ता एवं डोलनारायण ने मांग की और कहा कि कांग्रेस सरकार आदिवासी क्षेत्र के वनाधिकार पटटा प्राप्त किसानो से वादे के अनुसार धान खरीदी नहीं कर रही है। यह खरीदी भी प्रारंभ किये जायें। प्रदेश के किसानो द्वारा आत्महत्या करने का दुखद क्रम आज तक जारी है। आत्महत्या करने वाले ऐसे सभी दिवंगतो के परिवार को 25-25 लाख रुपये की अनुग्रह राषि प्रदान किये जायें। पुसौर स्थित बोरोडीपा चौक में हजारो की संख्या में आये किसानो ने आज जमकर भूपेष सरकार के खिलाफ नारेबाजी की और अपना आक्रोष व्यक्त किया। उन्होनें कहा कि कांग्रेस सरकार किसानो की प्रताडऩा बंद नही करती तो भाजपा उग्र प्रदर्शन करेगी।

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