रायगढ़। मॉनसून आ चुका है और पूरे प्रदेश में बारिश का सिलसिला जारी है। जहां किसानों के लिए बारिश राहत है वहीं कुछ लोगों के लिए आफत बन कर आई है। कुछ लोग बरसात के मौसम का आनंद अपने घरों की छत या बालकनी से उठाते हैं। लेकिन अगर किसी को जरूरी काम से घर से बाहर निकलना पड़ता है तो कई परेशानियों का सामना करना पड़ता है। इतना ही नहीं बारिश के दिनों में रायगढ़ की सड़कों पर ड्राइविंग के दौरान जरा सी लापरवाही महंगी साबित हो सकती है। ऐसा हम यूं ही नहीं कह रहे। यहां की सड़के खुद अपनी हाल बयां कर रही है। रायगढ़ शहरी क्षेत्र की अधिकांश सड़कें बरसात में पोखर में तब्दील हो चुकी है, जो किसी अनहोनी को आमंत्रित कर रही है।

रायगढ़ शहर की सड़कों में बरसात के मौसम में गाड़ी चलाना काफी मुश्किल भरा हो चुका है। यहां जरा सी लापरवाही वाहन चालक को महंगी साबित पड़ सकती है। चूंकि बरसात के दिनों सड़क के गड्ढो में पानी भर जाने से लोगों को पता नही चल पा रहा कि सड़क कहां है और गड्ढा कहां है। ऐसे में प्रतिदिन यहां छोटी मोटी घटनाएं घटित हो रही है।

शहर के खर्राघाट पुल, कार्मेल स्कूल मार्ग, ढिमरापुर चौक, उर्दना मार्ग के अलावा शहर में कई जगह सड़क में बड़े-बड़े गड्ढे हैं। बरसात से पहले इन सड़कों में पेचवर्क का काम नही होनें से यह सड़क अब बरसात के शुरू होते ही जानलेवा साबित हो चुके। सड़क में बने इन गड्ढो से अनजान अधिकांश लोग चोटिल हो रहे हैं वहीं जानकार लोग इस मार्ग पर चलते समय सावधानी बरत रहे हैं।
अमृत मिशन ने किया सडक का कबाड़ा- राहुल

शहर के युवा राहुल यादव ने कहा कि रायगढ़ जिले में जर्जर सड़क की समस्या पहले से ही बनी हुई थी। कहीं-कहीं सड़क तो बनाया गया था। परंतु उसे भी अमृत मिशन योजना के तहत खोद डाला गया जिससे कि सड़क फिर से अपने पुराने स्वरूप में पहुंच चुकी है। यह कहना गलत नही होगा कि अमृत मिशन योजना का भी खामियाजा भी लोगों को भुगतना पड़ रहा है। बरसात से पहले सड़क में बने गड्ढो का भरना था ताकि लोगों को दुर्घटनाओं से बचाया जा सके।
दुर्घटना की वजह से बन रहे ये गड्ढे-कुणाल

शहर के युवा कुणाल सिंह का कहना है कि लगातार दो दिनों से हो रही बारिश ने प्रशासन की पोल खोलकर रख दी है। जगह -जगह सड़क के गड्ढो में बारिश का पानी भर जा रहा है तथा बारिश की वजह से सड़कों में हुए गड्ढे आये दिन दुर्घटना का कारण बनते जा रहे हैं। रायगढ़ शहर में प्रतिदिन सड़क में हुए गड्ढों में पानी भर जाने की वजह से न तो गड्ढे का पता चल पाता है और न ही चालक अनुमान लगा पाते हैं कि सड़क में कितना बडा गढ्ढा है।
व्हीआईपी मार्ग का हाल बेहाल- सुबेन्दु

शहर के युवा सुबेन्दु हालदार का कहना है कि खर्राघाट पर स्थित पुल के सड़क में कई जगह बड़े-बड़े गड्ढे हैं। इस पुल में रात के समय लाईट भी नही जलती। जबकि इस मार्ग को व्हीआईपी मार्ग भी कहा जाता है। किसी भी मंत्री या नेता सर्किट हाउस पहुंचने इसी मार्ग का उपयोग करते हैं। साथ ही 24 घंटे इस मार्ग पर लोगों का आना जाना लगा रहता है। बरसात के दिनों में इस मार्ग पर बने गड्ढो में पानी जमा हो जाने से लोगों को गड्ढा का पता नही चलता और गिरकर चोटिल हो रहे हैं।
