यूपी मौसम विभाग ने आज और कल कई जिलों में शीतलहर को लेकर चेतावनी जारी की है। मौसम विभाग के अनुसार इन दो दिनों में कुछ जिलों में दिनभर शीतलहर चलने का अनुमान है। 12 जनवरी को सहारनपुर, शामली, मुजफ्फरनगर, मेरठ, बिजनौर, अमरोहा, मुरादाबाद, रामपुर, बरेली और आसपास के इलाकों में शीतलहर की चेतावनी जारी हुई है।
इस बार ठंड के जल्द विदा होने के संकेत
बिहार में मौसम के असामान्य मिजाज ने जो संकेत दिए हैं उसके अनुसार इस बार गर्मी का आगमन जल्द हो सकता है। अभी जनवरी का दूसरा हफ्ता ही चल रहा है और पारा 27 डिग्री के पार पहुंच गया है। ऐसे में जनवरी अंत या फरवरी के आरंभ तक ठंड के विदा होने के आसार प्रबल हो गए हैं। सामान्यतया अभी सूबे में पारा 20 से 22 डिग्री के बीच रहना चाहिए था, लेकिन पिछले दस दिनों से पारा 25 से 28 डिग्री सेल्सियस पर बना हुआ है। अमूमन पारे का यह स्तर मार्च के अंत तक देखा जाता था। न्यूनतम तापमान की स्थिति भी कुछ ऐसी ही है। शेखपुरा और जमुई का न्यूनतम पारा क्रमश: 18 और 18.1 डिग्री सेल्सियस पर पहुंच गया था।
अन्य शहरों की स्थिति भी ठीक नहीं और न्यूनतम तापमान सामान्य से पांच से छह डिग्री अधिक हैं। पूस में फागुन जैसी गर्मी पर मौसम वैज्ञानिक भी अध्ययन में लगे हैं। आम लोगों में भी इस बात को लेकर कौतूहल है कि कहीं इस बार गर्मी का कहर तो नहीं बरपेगा। पिछले साल लॉकडाउन में गर्मी काफी कम पड़ी थी और पूरे सीजन हर हफ्ते बारिश की स्थिति बनने से तापमान सामान्य से नीचे रहा था।
मौसम की गतिविधियों और जलवायु परिवर्तन की स्थिति पर नजर रखने वाले सीयूएसबी के असिस्टेंट प्रोफेसर प्रधान पार्थसारथी ने कहा कि जो संकेत हैं उसके अनुसार गर्मी का आगमन जल्द होगा। फरवरी में ठंड की स्थिति पहले जैसी नहीं रहेगी। इस बार दिसंबर से अबतक पश्चिमी विक्षोभों का प्रवाह पर्वतीय इलाकों की ओर दिखा। इस वजह से पर्वतीय इलाकों से मैदानी इलाकों तक आने वाली बर्फीली हवा के प्रवाह पर असर पड़ा। बंगाल की खाड़ी क्षेत्र से नमी की मात्रा राज्य में लगातार बनी रही, लेकिन मौसमी सिस्टम इस तरह नहीं बन पाया कि घना कोहरा हो। इस वजह से रबी के फसलों को काफी नुकसान हो सकता है। ओस न गिरने से खेतों में नमी की मात्रा लगातार कम होती जा रही है। हालांकि पटना मौसम विज्ञान केंद्र के विशेषज्ञों की राय थोड़ी जुदा है। पटना मौसम विज्ञान केंद्र के निदेशक विवेक सिन्हा का कहना है कि विंटर सीजन के तापमान के पैटर्न के आधार पर गर्मी का इतनी जल्दी अनुमान करना उचित नहीं होगा। उन्होंने कहा कि जिन कारणों से अभी तापमान बढ़ा है, उसका अध्ययन जारी है। अभी ऐसा अनुमान करना कि इस बार गर्मी ज्यादा पड़ेगी, यह उचित नहीं होगा।